14 types of death-Angad Ravana dialog 2024 : श्री रांमचारितमानस के अनुसार राम-रावण युद्ध चल रहा था, तब अंगद ने रावण से कहा:- तू तो मरा हुआ है, मरे हुए को मारने से क्या फायदा ?
रावण बोला:– मैं जीवित हूँ, मरा हुआ कैसे ?
अंगद बोले, सिर्फ साँस लेने वालों को जीवित नहीं कहते साँस तो लुहार की धौंकनी भी लेती है।
तब अंगद जी ने रावण को मृत्यु के 14 प्रकार बताए
कौल कामबस कृपिन विमूढ़ा।अतिदरिद्र अजसि अतिबूढ़ा।
सदारोगबस संतत क्रोधी। विष्णु विमुख श्रुति संत विरोधी।
तनुपोषक निंदक अघखानी।जीवत शव सम चौदह प्रानी।।
कामवश:– 14 types of death :जो व्यक्ति अत्यंत भोगी हो, कामवासना में लिप्त रहता हो, जो संसार के भोगों में उलझा हुआ हो, वह मृत समान है। जिसके मन की इच्छाएं कभी खत्म नहीं होतीं और जो प्राणी सिर्फ अपनी इच्छाओं के अधीन होकर ही जीता है, वह मृत समान है। वह अध्यात्म का सेवन नहीं करता है, सदैव वासना में लीन रहता है।
वाममार्गी:- : जो व्यक्ति पूरी दुनिया से उल्टा चले, जो संसार की हर बात के पीछे नकारात्मकता खोजता हो। नियमों, परंपराओं और लोक व्यवहार के खिलाफ चलता हो, वह वाम मार्गी कहलाता है। ऐसे काम करने वाले लोग मृत समान माने गए हैं।
कंजूस:- 14 types of death : अति कंजूस व्यक्ति भी मरा हुआ होता है। जो व्यक्ति धर्म कार्य करने में, आर्थिक रूप से किसी कल्याणकारी कार्य में हिस्सा लेने में हिचकता हो, दान करने से बचता हो, ऐसा आदमी भी मृतक समान ही है।
अति दरिद्र:– गरीबी सबसे बड़ा श्राप है। जो व्यक्ति धन, आत्म-विश्वास, सम्मान और साहस से हीन हो, वह भी मृत ही है। अत्यंत दरिद्र भी मरा हुआ है। गरीब आदमी को दुत्कारना नहीं चाहिए, क्योंकि वह पहले ही मरा हुआ होता है। दरिद्र-नारायण मानकर उनकी मदद करनी चाहिए।
विमूढ़:- 14 types of death-Angad Ravana dialog: अत्यंत मूढ़ यानी मूर्ख व्यक्ति भी मरा हुआ ही होता है। जिसके पास बुद्धि-विवेक न हो, जो खुद निर्णय न ले सके, यानि हर काम को समझने या निर्णय लेने में किसी अन्य पर आश्रित हो। ऐसा व्यक्ति भी जीवित होते हुए मृतक समान ही है, मूढ़ अध्यात्म को नहीं समझता।
अजसि:– जिस व्यक्ति को संसार में बदनामी मिली हुई है, वह भी मरा हुआ है। जो घर-परिवार, कुटुंब-समाज, नगर-राष्ट्र, किसी भी ईकाई में सम्मान नहीं पाता, वह व्यक्ति भी मृत समान ही होता है।
सदा रोगवश:-14 types of death-Angad Ravana dialog: जो व्यक्ति निरंतर रोगी रहता है, वह भी मरा हुआ है। स्वस्थ शरीर के अभाव में मन विचलित रहता है। नकारात्मकता हावी हो जाती है। व्यक्ति मृत्यु की कामना में लग जाता है। जीवित होते हुए भी रोगी व्यक्ति जीवन के आनंद से वंचित रह जाता है।
अति बूढ़ा:- अत्यंत वृद्ध व्यक्ति भी मृत समान होता है, क्योंकि वह अन्य लोगों पर आश्रित हो जाता है। शरीर और बुद्धि, दोनों अक्षम हो जाते हैं। ऐसे में कई बार वह स्वयं और उसके परिजन ही उसकी मृत्यु की कामना करने लगते हैं, ताकि उसे इन कष्टों से मुक्ति मिल सके।
सतत क्रोधी:– 14 types of death-Angad Ravana dialog: 24 घंटे क्रोध में रहने वाला व्यक्ति भी मृतक समान ही है। ऐसा व्यक्ति हर छोटी-बड़ी बात पर क्रोध करता है। क्रोध के कारण मन और बुद्धि दोनों ही उसके नियंत्रण से बाहर होते हैं। जिस व्यक्ति का अपने मन और बुद्धि पर नियंत्रण न हो, वह जीवित होकर भी जीवित नहीं माना जाता। पूर्व जन्म के संस्कार लेकर यह जीव क्रोधी होता है। क्रोधी अनेक जीवों का घात करता है और नरकगामी होता है।
अघ खानी:- 14 types of death : जो व्यक्ति पाप कर्मों से अर्जित धन से अपना और परिवार का पालन-पोषण करता है, वह व्यक्ति भी मृत समान ही है। उसके साथ रहने वाले लोग भी उसी के समान हो जाते हैं। हमेशा मेहनत और ईमानदारी से कमाई करके ही धन प्राप्त करना चाहिए। पाप की कमाई पाप में ही जाती है और पाप की कमाई से नीच गोत्र, निगोद की प्राप्ति होती है।
तनु पोषक:- 14 types of death-Angad Ravana dialog:: ऐसा व्यक्ति जो पूरी तरह से आत्म संतुष्टि और खुद के स्वार्थों के लिए ही जीता है, संसार के किसी अन्य प्राणी के लिए उसके मन में कोई संवेदना न हो, ऐसा व्यक्ति भी मृतक समान ही है। जो लोग खाने-पीने में, वाहनों में स्थान के लिए, हर बात में सिर्फ यही सोचते हैं कि सारी चीजें पहले हमें ही मिल जाएं, बाकी किसी अन्य को मिलें न मिलें, वे मृत समान होते हैं। ऐसे लोग समाज और राष्ट्र के लिए अनुपयोगी होते हैं। शरीर को अपना मानकर उसमें रत रहना मूर्खता है, क्योंकि यह शरीर विनाशी है, नष्ट होने वाला है।
निंदक:- 14 types of death : अकारण निंदा करने वाला व्यक्ति भी मरा हुआ होता है। जिसे दूसरों में सिर्फ कमियाँ ही नजर आती हैं। जो व्यक्ति किसी के अच्छे काम की भी आलोचना करने से नहीं चूकता है। ऐसा व्यक्ति जो किसी के पास भी बैठे, तो सिर्फ किसी न किसी की बुराई ही करे, वह व्यक्ति भी मृत समान होता है। परनिंदा करने से नीच गोत्र का बंध होता है।
परमात्म विमुख: 14 types of death-Angad Ravana dialog: – जो व्यक्ति ईश्वर यानि परमात्मा का विरोधी है, वह भी मृत समान है। जो व्यक्ति यह सोच लेता है कि कोई परमतत्व है ही नहीं, हम जो करते हैं वही होता है, संसार हम ही चला रहे हैं, जो परमशक्ति में आस्था नहीं रखता, ऐसा व्यक्ति भी मृत माना जाता है।
श्रुति संत विरोधी:–14 types of death-:जो संत, ग्रंथ, पुराणों का विरोधी है, वह भी मृत समान है। श्रुत और संत, समाज में अनाचार पर नियंत्रण (ब्रेक) का काम करते हैं। अगर गाड़ी में ब्रेक न हो, तो कहीं भी गिरकर एक्सीडेंट हो सकता है। वैसे ही समाज को संतों की जरूरत होती है, वरना समाज में अनाचार पर कोई नियंत्रण नहीं रह जाएगा।
अतः मनुष्य को उपरोक्त चौदह दुर्गुणों से यथासंभव दूर रहकर स्वयं को मृतक समान जीवित रहने से बचाना चाहिए।
14 types of death – महत्वपूर्ण लिंक देखें
Bharat Yojana Home Page Link | Click Here |
Vivo Y75 5G | Click Here |
Huawei Pocket S price | Click Here |
Instagram Joining Link | Click Here |
Google News | Click Here |
telegram web | Click Here |
- अब अपने एटीएम कार्ड मशीन से सोना खरीदें,Gold ATM Machin
- Realme 10 Pro सीधा टक्कर दे रहा, oppo reno 8 को
- New Smartphone OPPO A98, लेकर आ गया जबरदस्त फीचर
- बाजार पर राज करने Samsung Galaxy A54, दमदार फीचर्स ,50MP कैमरा,
- एक चार्जिंग 100KM रेंज, इलेक्ट्रिक स्कूटर कीमत 35₹ हजार
- आज सोने का भाव, गोल्ड प्राइस टुडे, गोल्ड रेट, 24 कैरेट सोने का मूल्य
- Google Pixel 7 PRO : इस वर्ष सर्वाधिक बिकने वाला फोन,
- ई-स्कूटर 15 मिनट में फुल चार्ज, कीमत महज 22₹ हजार, लूट सको तो लूट लो
- शाओमी के फोल्डिंग फोन Full 5G New टेक्नोलॉजी लांच से पहले देखें,
- भारी डिस्काउंट के बाद, अब iPhone 12 केक की तरह बिक रहा,
- Viral Video कुत्ते की तरह भौंककर किया अनोखा प्रदर्शन देखें,
- गजब का देसी जुगाड़,देसी Electric Saikal 6 Seater देख भौचक्के रह गए लोग,